Badrinath Yatra: हाईवे खस्ता हालत…जख्मी आस्था पथ पर मरहम लगाने में जुटीं एजेंसियां

Badrinath Yatra

Badrinath Yatra: हाईवे खस्ता हालत…

Badrinath Yatra राष्ट्रीय राजमार्ग की खस्ता हालत को देखते हुए लगता है कि इस बार धाम की यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं का सफर आसान नहीं होगा। पिछले एक साल में हाईवे की दशा को सुधारने के कोई प्रयास नहीं किए गए हैं। जिन स्थानों पर भूस्खलन, भू-धंसाव हुआ था, पहाड़ी से मलबा आया था, वहां भी सुधारीकरण कार्य नहीं किया गया है।

कुछ जगहों पर सड़क चौड़ीकरण और मलबा हटाने का काम शुरू तो किया गया, लेकिन अब समय कम और काम ज्यादा है। Badrinath Yatra मार्ग पर पड़ताल के दौरान हाईवे की हालत बेहद खराब मिली, तो कहीं काम चलता मिला। नगरासू से बदरीनाथ धाम (129 किमी) तक बदरीनाथ हाईवे पर पिछले तीन सालों से ऑलवेदर रोड परियोजना का काम चल रहा है।

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कुछ जगहों पर हाईवे की दशा सुधारी जा चुकी है, लेकिन कई जगहों पर अभी भी हाईवे बेहद तंग हालत में है। नगरासू के समीप गत वर्ष पहाड़ी से भारी भूस्खलन होने से यहां करीब 200 मीटर हिस्से में हाईवे क्षतिग्रस्त हो गया था। अब यहां पर पहाड़ी को काटकर हाईवे का निर्माण किया गया है, लेकिन यहां गदेरा होने के कारण वाहनों की आवाजाही में दिक्कतें आ रही हैं।

पीपलकोटी के समीप गडोरा, बेलाकूची और पागलनाला में हाईवे का अधिकांश हिस्सा क्षतिग्रस्त है। राष्ट्रीय राजमार्ग और अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड (एनएचआईडीसीएल) की ओर से हिल साइड कटिंग कर हाईवे को चौड़ा करने का प्रयास किया जा रहा, लेकिन बारिश में यहां फिर से भूस्खलन की संभावना बनी है। जोशीमठ से मारवाड़ी तक हाईवे चौड़ीकरण का काम भी अभी चल रहा है।

इसमें कहीं कॉजवे का काम चल रहा, तो कहीं पुश्ते बनाए जा रहे हैं। टैय्या पुल से बल्दौड़ा तक चट्टान कटिंग से हाईवे संकरा हो गया है। यहां अलकनंदा किनारे सुरक्षा के इंतजाम भी नहीं हैं। लामबगड़ में भी नाले के ऊपर कॉजवे का निर्माण और बोल्डरों का निस्तारण किया जा रहा है। रड़ांग बैंड से कंचनगंगा के बीच भी जगह-जगह हिल कटिंग का काम चल रहा है। यह काम चारधाम यात्रा में के दौरान भी जारी रहेगा।

पीपलकोटी से जोशीमठ के बीच नहीं हैं सार्वजनिक शौचालयBadrinath Yatra

यात्रा मार्ग पर सार्वजनिक शौचालयों की कमी है। पीपलकोटी से जोशीमठ तक 36 किमी के दायरे में एक भी शौचालय की सुविधा नहीं है। पाखी और लंगसी में स्थायी शौचालय तो बने हैं, लेकिन पानी की सुविधा नहीं है। महिला शौचालय की सुविधा कर्णप्रयाग, गौचर, नंदनगर, चमोली में तो है, लेकिन अन्य कस्बा क्षेत्रों में महिला शौचालय नहीं है।

इन जगहों पर सुगम हो गया हाईवे

बीआरओ और एनएचआईडीसीएल की ओर से कई जगहों पर हाईवे को सुगम बना दिया गया है। नंदप्रयाग, मैठाणा बाजार से चमोली चाड़ा तक, बिरही चाड़ा से गडोरा, हेलंग से जोशीमठ, विष्णुप्रयाग से टैय्या पुल, पांडुकेश्वर, खचड़ा नाला, बैनाकुली, हनुमान चट्टी से रडांग बैंड और कंचनगंगा से देश के प्रथम गांव माणा तक हाईवे को ब्लैक टॉप और चौड़ीकरण कार्य पूर्ण कर लिया गया है।

इन जगहों पर बदहाल है हाईवे

भूस्खलन क्षेत्र प्रथाडीप, मैठाणा, बाजपुर चाड़ा, चमोली चाड़ा, छिनका, बिरही चाड़ा, गडोरा, भनेरपाणी, पागलनाला, बैलाकूची, गुलाबकोटी, हेलंग, झड़कुला, जोशीमठ से मारवाड़ी, टैय्या पुल से बल्दौड़ा, अरूड़ी, लामबगड़ और रड़ांग बैंड से कंचननाला।

कई जगहों पर धंस गया हाईवे

 

जोशीमठ पेट्रोल पंप से नीचे करीब 150 मीटर हिस्से में हाईवे धंस रहा है। गत वर्ष बीआरओ ने धंसाव वाली जगहों को सीमेंट के घोल से पाट दिया था, लेकिन फिर से धंंसाव हो रहा है। यात्रा में वाहनों के दबाव से यहां धंसाव बढ़ सकता है।

Badrinath Yatra हाईवे के भूस्खलन क्षेत्रों में सुरक्षा के इंतजाम किए जा रहे हैं। जिन स्थानों पर सुधारीकरण कार्य चल रहा है, उसे यात्रा शुरू होने से पहले पूर्ण करने के निर्देश कार्यदायी संस्थाओं को दिए गए हैं। कई जगहों पर हाईवे पहले से बेहतर हो गया है।

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